Chudai Ki Pyaasi, Ek Andhi Ladki – Part 2
तभी उसने नीचे से चूतड़ हिलना शुरू कर दिया कुझे एहसास हो गया की अब आशु चुदाई के लिए पूरी तैयार है और अब चाहे जो भी हो इसको में अपनी छिनाल बन के रहूँगा।
मैंने पहला झटका धीरे से मारा और फिर दूसरा थोड़ा ज़ोर से मैंने देखना चाह रहा था की कहीं मेरे चोदना शुरू करते ही फिर से यह हाय हाय न करने लग जाये।
पर सब कुछ ठीक रहने पर मैंने ज़ोर से चुदाई शुरू कर दी और मेरे एक एक झटके पर वह मस्त हो कर अपने चूतड़ ऊपर को उछालती ताकि मेरा पूरा लण्ड अंदर तक ले सके. मुझे उसकी इस हिम्मत ने और भी जोश से भर दिया और मैंने भी सोच लिया की आज जब तक यह हाथ जोड़ कर मुझसे यह नहीं कहती की बस करो तब तक मैं इसकी ताबड़ तोड़ ठुकाई करूंगा और झरूँगा नहीं।
फिर मैंने अपने लोहे जैसे लण्ड को सुपाड़े तक खींच कर झटके मारने शुरू किये और और अपनी स्पीड बहुत तेज कर दी ऐसा लग रहा था जैसे तूफ़ान मेल चल रही हो।
फिर उसकी जो टांगे उसने फैलाई हुई थी मैंने वह दोनों टांगे उठा कर छत की तरफ कर दी और अपना लण्ड बहार निकल लिया उसकी चूत से खून बहने लगा था।
मैंने फिर पोजीशन बदल के लण्ड अंदर ठोंक दिया और चुदाई शुरू कर दी मेरी चुदाई लगातार तेज होती जा रही थी और तभी वह झरने लगी।
और बोलते बोलते झर रही थी आह मजा आगया मेरे राजा आज तो तुमने मुझे ज़िंदगी के मजे दे दिए बस अब निकल लो मेरी चूत मैं से अपना लण्ड अब मैं और बर्दाश्त नहीं कर सकती..
मैं धीरे से उसके कान मैं कहा की मेरी छमक छल्लो अभी तो मैंने चुदाई शुरू की है और इतना कहते ही मैंने लण्ड को पूरा बहार खींच के धाड़ से उसकी गुलाबो पर दे मारा, मेरा वह घस्सा इतना ज़बरदस्त था की उसकी तो कमर ही टूट चली थी।
वह दर्द के मरे कराह उठी और बोलने लगी साले कुत्ते, मैंने तुझे चूत मारने को क्या दे दी तू तो मुझे ही मारने पर तुला है, प्लीज मुझे जाने दे राजा तुम्हारे लण्ड ने मुझे अंदर तक भर दिया है लण्ड इतना मोटा होता है मुझे तो पता ही नहीं था, इतना लंबा की मुझे लग रहा की मेरा पेट ही फाड़ देगा, बस करो मैं तुम्हारे हाथ जोड़ती हूँ प्लीज..
पर मेरा तो छूटने वाला नहीं था मैंने उसके कान मैं बुदबुदाया को फिर मेरा कैसे छुटाओगी मेरी रानी, तभी उसने चूत के दर्द से बचने के लिए मुझे अपनी गांड मारने का न्योता दे दिया और बोली मैंने सुना है की पीछे से भी करते हैं तुम मेरे पीछे से कर लो जानू पर प्लीज यह गधे के लण्ड जितने लण्ड को बहार निकलो प्लीज।
मैं तो खुश हो गया की आशु ने अपने आप मुझे गांड मारने का न्योता दे दिया मैंने भी देर न करते हुए अपना लण्ड बहार निकल लियाऔर जब मैंने देखा की उसके खून से सारी चादर ही लथपथ होगयी है मेरे तो होश ही उड़ गए और उसकी चूत सूज कर डबल रोटी जैसी फूल गयी थी।
जब मैंने घडी की तरफ देखा तो पाया की मैंने लगातार उसको 40 मिनट तक चोदा था और मेरे लण्ड ने अभी तक पनि नहीं छोड़ा था।
तभी वह बिना कुछ कहे उलटी हो कर लेट गयी, पहले मुझे उस पर तरस आ गया, पर फिर मैंने सोचा की, यही तो चाहती थी ये, किसी का मोटा तगड़ा लण्ड लेना और आज इसे अपने बाइसवे साल में यह लण्ड मिला है तो इसे भी जी भर के चुदना चाहिए और पता नहीं इसे दोबारा यह लण्ड कब मिले।
यह सोच कर मैंने तकिया उठाया और उसके पेट के नीचे रख दिया ता कि उसकी गुलाबी गांड का छेद और भी उभर जाये और मुझे उस छेद में लण्ड डालकर ज़ोर ज़ोर से चोद सकू।
मैंने अपनी बनियान से उसकी गांड से लगा उसका रज और खून पोछा जो कि उसकी सील तोड़ने के बाद उसकी गुलाबी गांड तक बह कर आ गया था।
फिर मैंने उसकी गांड पर भी वैसलीन लगायी और उसकी जांघों पर बैठ गया। उसकी गांड का छेद बिलकुल मेरे लण्ड के टोपे के नीचे था और मेरे लण्ड का टोपा उसकी गुलाबी गांड के टाइट छेद से कहीं बड़ा था।
मैंने अपने लण्ड के टोपे के पीछे से पकड़ कर टोपे को उसकी गांड पर दबाया वैसलीन लगी होने के कारण टोपे ने थोड़ी सी जगह उस गांड के छेद में बना ली थी और उसे दर्द का मीठा मीठा एहसास होने लगा और वह आह आह कर के हिलने लगी।
पर वह मेरे नीचे दबी होने के कारण जियादा हिल नहीं पा रही थी। तभी में आगे झुका और मैंने एक झटके से आधा लण्ड उसकी गांड को चीरता हुआ अंदर कर दिया और वह मारे दर्द के चिल्लाने लगी..
ओह माय गॉड..मैंने यह क्या कर दिया तुम्हें अपनी गांड मारने का ऑफर दे कर.. प्लीज मेरी गांड में से अपना लण्ड निकालिये प्लीज मेरी गांड को छोड़ दो प्लीज।
मैं आज के बाद कभी भी गांड नहीं मरवाऊँगी प्लीज आह ह ह ह हह ह ह ह ह प्लीज, मेरी गांड में से उधड़ गयी है, प्लीज।
मैंने उसकी एक न सुनी क्यों कि उसको दर्द से बिलखते हुए देख कर मुझे लगा कि मैं अब जल्दी से झर जाऊं नहीं तो यह किसी काम कि नहीं रहेगी और मैंने एक और झटके से उसकी गांड के अंदर अपना सारा लण्ड उतार दिया, उसे ज़ोर ज़ोर से चोदने लग गया और वह चिल्लाती रही।
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